संकट काल में संकट से बचने के लिए की गई प्रार्थना से क्या ईश्वर विशेष ज्ञान-विज्ञान देता है?
हां, यह संभव है कि संकट काल में अर्थात् हानि, वियोग, अपमान, मिथ्या आरोप, विश्वासघात, छल-कपट आदि प्रतिकूल परिस्थितियों में, जब मन में दुख विषाद उत्पन्न हो जाता है, तब व्यक्ति यदि, एकाग्र चित्त होकर एकान्त शांत स्थान में मन को उन विषयों से रोककर परमेश्वर से उपयुक्त संकट की परिस्थिति का सामना करने के लिए या उसका समाधान निकालने के लिए या उसे सहन करने के लिए प्रार्थना करता है, तो ईश्वर उसे ज्ञान, बल, साहस, पराक्रम, उत्साह, चातुर्य, धैर्य, सहनशक्ति आदि विशेष गुणों को प्रदान करता है। इन सबको प्राप्त करके वह उस संकट में घबराता नहीं है, बल्कि, उसका ठीक समाधान कर लेता है।
-आचार्य ज्ञानेश्वर